NEET UG 2025 में धमाकेदार सफलता: टॉपर्स की जोशीला सफ़र

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NEET UG 2025 में धमाकेदार सफलता: टॉपर्स की जोशीला सफ़र

 

नई दिल्ली, 14 जून 2025 – NEET UG 2025 परीक्षा में देशभर के लाखों छात्रों ने हिस्सा लिया, जिनमें से कुछ ने शानदार सफलता पाई। आइए जानें टॉपर्स की क

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महेश कुमार (AIR 1) – राजस्थान

 

हिंदी माध्यम से पढ़ने वाले महेश कुमार ने पहली ही कोशिश में टॉप कर देशभर में नाम रोशन किया। शुरुआत में आर्ट्स की सोच रखने वाले महेश ने कक्षा 11 में साइंस चुना। अंग्रेज़ी की मुश्किलों को मात देते हुए नियमित Revision और आत्मविश्वास की बदौलत पहला स्थान हासिल किया ।

 

उत्कर्ष अवस्थिया (AIR 2) – मध्य प्रदेश

 

पहली बार परीक्षा देने वाले उत्कर्ष ने 99.9999095 % परसेंटाइल हासिल कर AIIMS दिल्ली की राह देखी। परीक्षा केंद्र पर बिजली जाने के दौरान भी शांत दिमाग बनाए रखा और गलतियों को दोहराने से बचा ।

 

(AIR 3)

 

हरिद्वार के कृष्णांग जोशी, जिन्होंने दसवीं से तैयारी शुरू की थी, ने फिजिक्स पर जोर देकर टॉप-3 में जगह बनाई – नियमित मॉक टेस्ट और समझ आधारित पढ़ाई का परिणाम ।

 

ऐविका अग्रवाल (AIR 5) – फरीदाबाद

 

डॉक्टर परिवार से ताल्लुक रखने वाली 17 वर्षीय ऐविका ने दबाव से निपटने के लिए टेबल टेनिस और डांस का सहारा लिया। उन्होंने पठन को माइक्रो-सत्रों (90 मिनट पढ़ाई + 30 मिनट ब्रेक) में विभाजित किया, जिससे ध्यान और ऊर्जा दोनों स्थिर रहे ।

 

क्यों ये टॉपर्स खास हैं?

 

पहलू सेलिब्रिटी टॉपर्स की रणनीतियाँ

 

स्ट्रक्चर्ड पढ़ाई महेश ने नियमित रिवीजन, उत्कर्ष ने मॉक टेस्ट के बाद समीक्षा, और ऐविका ने माइक्रो-सेशन तकनीक अपनाई।

मेंटल स्ट्रेंथ चुनौतीपूर्ण परिस्थितियों (बिजली कट, पेपर प्रारूप, तनाव) में शांत दिमाग बनाए रखा गया।

फैमिली सपोर्ट भाषा व प्रारम्भिक निर्णयों में परिवार का सहयोग – महेश की बहन, उत्कर्ष की माँ ने उन्हें जगाया, और ऐविका के माता-पिता ने भावनात्मक व शैक्षणिक मार्गदर्शन दिया।

कॉचिंग + सेल्फ़ स्टडी सभी टॉपर्स ने कोचिंग के साथ स्वयं की मेहनत को संतुलित रखा – ऐसा लगता है कि यह संयोजन सबसे असरदार साबित हुआ।

 

 

 

अंतिम संदेश – आने वाले NEET छात्रों के लिए

 

1. संयम बनाए रखें – रोज़ाना की मेहनत और नियमित रिवीजन सफलता की कुंजी है।

 

 

2. मन और दिमाग़ दोनों को मजबूत रखें – किसी भी परिस्थिति में संयम बचाएं।

 

 

3. समय प्रबंधन सीखें – पढ़ाई को छोटे-छोटे, प्रभावी सत्रों में बांटें।

 

 

4. गलतियों से सीखें – मॉक टेस्ट की समीक्षा से सुधार करें।

 

 

5. परिवार का साथ महत्वपूर्ण – अक्सर टॉपर की सफलता में परिवार का योगदान अनमोल होता है।

 

 

 

 

 

ये शानदार उपलब्धियाँ सिर्फ अंक या रैंक की गवाही नहीं देतीं, बल्कि यह भी दिखाती हैं कि सही दृष्टिकोण, मेहनत और मानसिक दृढ़ता से बड़ी से बड़ी चुनौती को पार किया जा सकता है।

 

आशा है ये रिपोर्ट आपकी वेबसाइट पर उपयोगी साबित होगी!

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