देखें भर्ती घोटाले में किन बडे अधिकारियों की हुई गिरफ्तारी

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देखें भर्ती घोटाले में किन बडे अधिकारियों की हुई गिरफ्तारी

अधीनस्थ सेवा चयन आयोग की 2017 में हुई वीपीडीओ की भर्ती के दौरान कन्याल आयोग में सचिव पद पर तैनात थे। बीते शनिवार को शासन की अनुमति के बाद एसटीएफ ने आयोग के पूर्व चेयरमैन आरबीएस रावत, पूर्व सचिव मनोहर सिंह कन्याल और पूर्व परीक्षा नियंत्रक आरएस पोखरिया को गिरफ्तार किया था।

 

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शासन ने उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग के पूर्व सचिव मनोहर सिंह कन्याल को निलंबित कर दिया है। वह वर्तमान में सचिवालय में संयुक्त सचिव, लेखा के पद पर कार्यरत थे। सोमवार को अपर मुख्य सचिव, सचिवालय प्रशासन राधा रतूड़ी ने पूर्व सचिव के निलंबन के आदेश जारी किए। आदेश में कहा गया है कि निलंबन गिरफ्तारी की तिथि से मान्य होगा। ग्राम पंचायत विकास अधिकारी (वीपीडीओ) की भर्ती परीक्षा में धांधली के मामले में गिरफ्तार तत्कालीन अध्यक्ष डा. आरबीएस रावत, तत्कालीन सचिव मनोहर सिंह कन्याल और तत्कालीन परीक्षा नियंत्रक राजेंद्र सिंह पोखरिया की वीडियो कांफ्रेसिंग के माध्यम से कोर्ट में पेशी हुई, जहां से तीनों को 21 अक्टूबर तक न्यायिक अभिरक्षा में भेज दिया गया है। एसटीएफ ने तीनों को बीते शनिवार को रिमांड मजिस्ट्रेट के समक्ष पेश किया था, जहां से तीनों को सोमवार तक जेल भेजा गया था।

 

बताया जा रहा है कि एसटीएफ ने तीनों तत्कालीन अधिकारियों के विरुद्ध काफी साक्ष्य जुटाए हैं। इसमें जिन खातों में अभ्यर्थियों से धनराशि डलवाई उनका सारा रिकार्ड भी शामिल किया गया था। एसटीएफ ने 42 अभ्यर्थियों से पूछताछ के दौरान काफी साक्ष्य एकत्र किए हैं। इसके अलावा तत्कालीन अध्यक्ष के विदेश दौरों की भी जानकारी मिली है। ऐसे में एसटीएफ उनके विदेश कनेक्शन को भी खंगाल रही है। दरअसल, वर्ष 2016 में वीपीडीओ की परीक्षा में धांधली के आरोप में उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग (यूकेएसएसएससी) के तत्कालीन अध्यक्ष डा. आरबीएस रावत, तत्कालीन सचिव मनोहर सिंह कन्याल और तत्कालीन परीक्षा नियंत्रक राजेंद्र सिंह पोखरिया को एसटीएफ ने गिरफ्तार किया था। आरोप है कि इन अधिकारियों ने परीक्षा की ओएमआर शीट से छेड़छाड़ की। भर्ती परीक्षा में धांधली में शामिल छह आरोपितों की गिरफ्तारी हो चुकी है।

 

ग्राम पंचायत विकास अधिकारी (वीपीडीओ) भर्ती परीक्षा धांधली में एक पूर्व मुख्यमंत्री के ओएसडी पर भी एसटीएफ शिकंजा कस सकती है। सोमवार को एसटीएफ ने कुछ अभ्यर्थियों के साथ ही पूर्व मुख्यमंत्री के ओएसडी को पूछताछ के लिए बुलाया। उनसे एसटीएफ ने करीब साढ़े तीन घंटे पूछताछ की। इसके बाद उनके बयान दर्ज किए गए। सूत्रों की मानें तो एसटीएफ उन्हें इस मामले में सरकारी गवाह बना सकती है। उन्होंने वीडीपीओ भर्ती में एक अभ्यर्थी की सिफारिश आरोपितों से की थी।

वीपीडीओ भर्ती धांधली में एसटीएफ ने 2016 के तत्कालीन आयोग के अध्यक्ष आरबीएस रावत, सचिव एमएस कन्याल और परीक्षा नियंत्रक राजेंद्र पोखरिया को बीते शनिवार को गिरफ्तार किया था। इसके बाद एसटीएफ ने कई अभ्यर्थियों से पूछताछ की है। इनमें कुछ अधिकारी भी शामिल हैं।

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